डेढ़ महीना से घर मैं कैद कर रखे नाबालिग युवती को मुक्त कराने की मांग को लेकर किसान मंच का अनिश्चितकालीन भूख हड़ताल शुरू
- गिरिडीह / जन की बात
भू माफिया के प्रलोभन और थाना प्रभारी के दबाव में आकर पचंबा थाना कांड संख्या 80/2023 के सूचक मनोज ठाकुर द्वारा जान मारने की धमकी देकर अपनी नाबालिग बेटी बेबी कुमारी को विगत 30 जून से घर में कैद कर रखे जाने से आक्रोशित किसान मंच के सदस्यों ने गुरुवार से अंबेडकर चौक गिरिडीह में अनिश्चितकालीन भूख हड़ताल शुरू कर दिया है। भूख हड़ताल कार्यक्रम में उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए किसान मंच की नेत्री अन्ना मुर्मू ने कहा कि पचंबा थाना प्रभारी ने दीपक गोस्वामी पर पोक्सो एक्ट के तहत मुकदमा सूचक मनोज ठाकुर के उस आवेदन पर किया है जिसमे मनोज ठाकुर ने लिखा है कि दीपक गोस्वामी ने उसकी पुत्री बेबी कुमारी ने साथ छेड़खानी किया जबकि बेबी कुमारी वीडियो बनाकर एवं पत्र लिखकर यह सार्वजनिक की है कि दीपक गोस्वामी बिलकुल निर्दोष है। बेबी कुमारी यह भी लिखी है कि मेरे घर वालों ने मुझे जान मारने का धमकी देकर मुझसे दीपक कुमार गोस्वामी पर छेड़खानी करने का झूठा बयान देने को विवश किया तथा मुझे घर में कैद कर रखा है। किसान मंच के सचिव विजय कुमार ने कहा कि भूमाफिया के पैसे के लोभ में आकर पचंबा थाना प्रभारी द्वारा फंसाए गए निर्दोष दीपक गोस्वामी की रिहाई करने की मांग को लेकर सैकड़ों लोगों ने 6 बार प्रदर्शन किया। पूर्व एसपी, वर्तमान एसपी एवं डीआईजी को भी पूरे साक्ष्य के साथ मामला से अवगत कराया। पर दीपक गोस्वामी को न्याय नहीं मिला। पुलिस के पाप का घड़ा फूट गया जिस वजह से लड़की किसी तरह से वीडियो और पत्र के माध्यम से सूचक और पुलिस के झूठ का पर्दाफाश करने में कामयाब हो सकी। पुलिस प्रशासन में थोड़ी से भी लाज शर्म बचा हुआ है तो तत्काल लड़की को कैद से मुक्त कराए तथा निर्दोष दीपक गोस्वामी को रिहा करावे और दोषी थाना प्रभारी एवं सूचक के विरुद्ध कार्रवाई करे। जब तक दोषी लोगों के विरुद्ध कार्रवाई नहीं होगा तब तक किसान मंच का भूख हड़ताल जारी रहेगा। भूख हड़ताल कार्यक्रम में पुरन सिंह, घनश्याम पंडित, सनातन तिवारी, अनिता हांसदा, बोबी देवी, सरिता कुमारी, बिंदिया देवी, दुलारी देवी, बीरमा देवी, आरती कुमारी, सिंकु कुमार, जितनी देवी, सोहन गोस्वामी, विराज गोस्वामी, गुड्डू कुमार, देव कुमार, देविका कुमारी, साक्षी गोस्वामी सहित कई लोग भूख हड़ताल पर बैठे हुए हैं।